बाड़ाहाट का थौलू मैं हाथी स्वांग व कंडार देवता रथ यात्रा मैं  उमड़ पड़ा जन सैलाब,  इस बार का थौलू  स्व. सुरेंद्र पुरी पत्रकार को समर्पित  ।। चमाला की चौंंरी मैं देवी डोली व पांंडव  रासो नृत्य , झूमे  अध्यक्ष जिला पंचात दीपक बिजल्वाण।। चिरंजीव सेमवाल

 



 बाड़ाहाट का थौलू मैं हाथी स्वांग व कंडार देवता रथ यात्रा मैं  उमड़ पड़ा जन सैलाब,  इस बार का थौलू  स्व. सुरेंद्र पुरी पत्रकार को समर्पित  ।।

चमाला की चौंंरी मैं देवी डोली व पांंडव  रासो नृत्य , झूमे  अध्यक्ष जिला पंचात दीपक बिजल्वाण।।

चिरंजीव सेमवाल

 

 

उत्तरकाशी। पौराणिक, धार्मिक एवं सांस्कृतिक विकास माघ मेला ( बाड़ाहाट) का थौलू के  तीसरे दिन बाड़ाहाट क्षेत्र के लोगों ने कंडार देवता की डोली रथयात्रा एवं हाथी स्वांग का पांडव नृत्य के साथ भव्य शोभायात्रा निकाली। हाथी स्वांग शोभयात्रा को देखने के लिये सैकड़ों की संख्या में लोग का जनसैलाब उमड़ पड़ागत।

  गत वर्षाें की भांति इस वर्ष भी बाड़ाहाट क्षेत्र की जनता ने पाडंव नृत्य की साथ कंडार देवता की डोली रथयात्रा के साथ हाथी स्वांग की शोभयात्रा भी निकाली। हाथी स्वांग शोभयात्रा कंडार देवता मंदिर से शुरू हुई। इस दौरान चमाला की चौंरी में पांडव नृत्य हुआ और उसके बाद भैरवचौक, विश्वनाथ चौक होते हुये शोभयात्रा पांडव नृत्य के साा मेला पंडाल पर पंहुची। शोभायत्रा के दौरान पांडव पश्वाओं के साथ ही महिला पुरूषों  ने भी पारंपारिक भेषभूषा के साथ रसों नृत्य किया। हाथी स्वांग शोभायात्रा समिति के डा. रामचंद्र उनियाल ने कहा कि बाड़ाहाट की थौलू की यह पूर्व से चली आ रही परंपरा है। उन्होंने काह कि हाथी स्वांग नृत्य लोगों का आकर्षण केंद्र रहा है। उन्होंने कहा कि पौराणिक परंपरा के अनुसार हाथी स्वांग  शोभायात्रा निकाली गई है। यात्रा में बाड़ाहाट क्षेत्र के दर्जनों गांवों के ग्रामीणों ने बढ़चढ़कर हिस्सा लिया है। हाथी स्वांग शोभायात्रा में शामिल जिला पंचायत अध्यक्ष दीपक बिजल्वाण ने कहा कि उत्तरकाशी जनपद देवी देवताओ की भूमि रही है। कंडार देवता, हरी महाराज के साथ ही यहां सैकड़ों देवी देवता विराजमान है। उन्होेंने हाथी स्वांग और कंडार देवता रथयात्रा के भव्य रूप से निकालने पर आयोजकों की आभार व्यक्त किया है। उन्होंने कहा कि हाथी स्वंाग यात्रा ने लोगों पर अपनी विशेष छाप छोड़ी है तथा इससे माघ मेले की रौनक भी बढ़ी है। इससे पूर्व चमाला की चौंरी में देव डोली और पांडव नृत्य का भी लोगों ने भरूपर आनंद लिया। इस अवसर पर   कमल सिंह रावत,डा. रामचंद्र उनियाल मंगल सिंह पंवार, बुद्धि सिंह पंवार , हरीश सजवाण, बच्चन सिंह पंवार,  हरिश डंगवाल, अरविंद थपलियाल आदि सैकड़ों लोग उपस्थित रहे। बता दे कि  बाड़ाहाट की परंपरा को जीवित करने के लिए स्व. सुरेंद्र पुरी पत्रकार ने हाथी का सॉन्ग कंधार देवता रथयात्रा की नींव रखी थी । इस बार 2020  का बाडाहाट का थौलू  स्व. सुरेंद्र पुरी पत्रकार को समर्पित को समर्पित किया गया है।